एटा(आगरा)। अवागढ़ किला रोड स्थित कोठी बाग नसिया मंदिर में चल रहे पंचकल्याणक प्रतिष्ठा महोत्सव के पांचवें दिन आचार्य निर्भय सागर महाराज ने कहा, जन्म उसी का सार्थक होता है, जो भोग छोड़ कर योग धारण करते हैं। उन्होंने कहा रामलीला की तरह पंचकल्याणक के माध्यम से जिनेंद्र लीला दिखाई जाती है। तिलक के महत्व को बताते हुए कहा तिलक करने से शांति, शीतलता, प्रसन्नता, उत्साह, सफलता प्राप्त होती है। हल्दी, चंदन, मिट्टी, केसर, कुमकुम आदि से तिलक किया जाता है। महाराज आदिनाथ के दीक्षा संस्कार करते हुए दीक्षा के महत्व को समझाया। दीक्षा कल्याणक के दृश्य को देखकर श्रद्धालु भक्तिमय हो गए। प्रतिष्ठाचार्य बाल ब्रह्मचारी राकेश भैया ने संगीतमय पूजा अर्चना कराई। पंचकल्याणक समिति के अध्यक्ष अश्वनी जैन एवं समिति के पदाधिकारियों ने मुख्य अतिथि नगर पालिका परिषद सिरसागंज के अध्यक्ष सोनी शिवहरे एवं शिकोहाबाद, आगरा, फिरोजाबाद, टूडला, बाम्बे, दिल्ली आदि स्थानों से पधारे अतिथियों का सम्मान एवं आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम में चेयरमैन महेशपाल सिंह, तरुण जैन, अविनाश चंद्र जैन, विपिन जैन, प्रांशु जैन, गौरव जैन, पवन जैन, सुमन जैन, परिमल जैन सेठी, प्रशांत जैन, तपन जैन, अरुण जैन, पदम जैन, श्रवण कुमार जैन, हर्ष कुमार जैन आदि श्रद्धालु उपस्थित रहे।