लखीमपुर खीरी। उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में पुलिस हिरासत में हुई रामचंद्र मौर्य की मौत के बाद मामले ने तूल पकड़ लिया है। पजिरनों का आरोप है कि, पुलिस की पिटाई से युवक की जान गई है। परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार करने से इनकार किया। जब पुलिस अधिकारी दल बल के साथ मृतक का अंतिम संस्कार कराने पहुंचे तो उनकी परिजनों से तीखी बहस हो गई। इस दौरान सीओ पीड़ित परिवार को धमकाने लगे। इस घटना की वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव से लेकर शिवपाल यादव ने इस घटना की वीडियो को सोशल मीडिया पर शेयर कर निशाना साधा है।
कोतवाली मझगईं निवासी रामचंद (36) वर्षीय पुत्र लालता प्रसाद घर से जलौनी लकड़ी लेने के लिए सुबह निकला था। वह शाम तक नहीं आया तो परिजनों ने उसकी तलाश कराई। तलाश में जानकारी मिली कि उसे मझगईं पुलिस पकड़ कर ले गई है। मझगईं जाकर परिजन ने उससे मुलाकात का प्रयास किया तो पुलिस ने मिलने नहीं दिया। काफी समय बाद सूचना मिली की उसका शव सरकारी अस्पताल में पड़ा है।
जैसे ही इसकी खबर परिजनों को लगी उन्होंने बवाल काट दिया। परिजनों ने शव रखकर प्रदर्शन शुरू कर दिया। उन्होंने कहा कि आरोपी पुलिसकर्मियों पर एक्शन के बाद ही अंतिम संस्कार किया जाएगा। ऐसे में पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया। सीओ समेत कई अधिकारी मौके पर पहुंचे और परिजनों को समझाने का प्रयास किया, मगर परिजन अपनी मांग पर अड़े रहे।
बीती रात धौरहरा क्षेत्र के सीओ पीपी सिंह ने परिजनों से मुलाकात की और शव के अंतिम संस्कार की अपील की लेकिन परिजन अपनी मांग पर अड़े रहे। इस पर सीओ परिजनों पर उखड़ गए और उन्हें धमकाना शुरू कर दिया। सीओ ने धमकी भरे लहजे में कहा कि ‘ना मझगई थाना सस्पेंड होगा, ना निघासन थाना सस्पेंड होगा, ना कोई मुआवजा देंगे, जितने दिन रखना है रख लो डेड बॉडी को घर पर, चार दिन-पांच दिन.. जीतने दिन मन हो…’ यह कहते हुए सीओ दल बल के साथ मौके से चले गए। किसी ने इसका वीडियो बना लिया जो अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
साभार सहित
Discover more from Up18 News
Subscribe to get the latest posts sent to your email.