आगरा। अपंजीकृत फर्मों से कच्चा माल खरीद कर टैक्स चोरी करने की शिकायत पर वाणिज्य कर विभाग ने बुधवार को जिले की 18 फर्मों के 24 ठिकानों पर विभागीय टीमों ने एकसाथ छापेमारी की। जिनमें से करीब दर्जनभर ठिकाने बंद मिले। यह कार्रवाई प्रमुख रूप से सरीन एंड सरीन, जीत इंडिया प्रा. लि., आरएन फ्रेगरेंस, सरीन फ्रेगरेंस फर्म के कई ठिकानों पर हुई। इनके कारोबारी लिंक के आधार पर एक दर्जन अन्य छोटी-छोटी फर्मों पर भी यह कार्रवाई की गई। कार्रवाई वाणिज्य कर विभाग के एडीशनल कमिश्नर ग्रेड वन एके सिंह के निर्देशन में अंजाम दी गई, इसमें आगरा के साथ आसपास के जिलों के करीब 70 अधिकारी और कर्मचारियों के साथ पुलिसकर्मी भी साथ थे।
विभागीय टीमों की रडार पर प्रमुख रूप से बड़ी फर्में ही रहीं। सरीन एंड सरीन फर्म के ही करीब आधा दर्जन तो जीत इंडिया प्रा. लि., आरएन फ्रेगरेंस, सरीन फ्रेगरेंस के भी कई ठिकानों पर पहुंचते ही विभागीय अधिकारियों ने उनका स्टाक और खरीद-बिक्री आदि के रजिस्टर और कंप्यूटर आदि अपने कब्जे लेकर जांच शुरू कर दी। जहां-जहां कंपनी के मालिक मिले उनसे व संबंधित लोगों से पूछताछ भी की गई।कार्रवाई के दौरान विभागीय टीमों को करीब 10 से 12 छोटी फर्म मौके पर बंद मिलीं, जिन्हें विभागीय टीमों ने कार्रवाई से पहले उक्त फर्मों से लेनदेन में ट्रेस किया था। वहीं चार से पांच फर्म ऐसी भी थी, जिनके रिकार्ड दुरुस्त थे, इसलिए टीमें वहां से पूछताछ के बाद लौट आयीं। शेष ठिकानों पर टीमें लगातार जांच कर रही हैं।कार्रवाई में विभागीय अधिकारियों को कुछ फर्में बंद मिली, जिनको लेकर आशंका जताई जा रही है कि यह कार्रवाई पिछले साल के रिकार्ड के आधार पर अंजाम दी गई है। इसलिए संभव है कि या तो इनपुट टैक्स क्रेडिट (आइटीसी) क्लेम करके बंद कर दिया गया हो, या फिर उनकी उपयोगिता सिद्ध होते ही पकड़े जाने के डर से उन्हें बंद कर दिया।