फूड एक्सपो एंड कॉन्क्लेव 2025 का शुभारंभ, 3000 से अधिक उद्यमियों की भागीदारी, 100 से अधिक स्टॉल्स बने आकर्षण का केंद्र

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आगरा। आगरा को खाद्य उद्योग के वैश्विक मानचित्र पर स्थापित करने की दिशा में एक बड़ी पहल के रूप में फूड एक्सपो एंड कॉन्क्लेव 2025 का शुभारंभ रविवार को केंद्रीय राज्य मंत्री प्रो. एस.पी. सिंह बघेल ने किया। आगरा में हो रहे इस तीन दिवसीय आयोजन में 100 से अधिक खाद्य प्रसंस्करण इकाइयों ने अपने उत्पादों की प्रदर्शनी भी लगाई है, जिसे पहले ही दिन 3000 से अधिक व्यापारियों और उद्यमियों ने देखा।

कार्यक्रम के विभिन्न सत्रों में खाद्य सुरक्षा, स्वच्छता, नवाचार और ब्रांड निर्माण जैसे मुद्दों पर गहन चर्चा हुई। आयोजन ने आगरा को ‘मसालों की राजधानी’ से आगे बढ़ाकर खाद्य गुणवत्ता, स्वदेशी ब्रांड और वैश्विक मानकों की दिशा में सशक्त मंच प्रदान किया।

रावी इवेंट्स के प्रबंधन में चैंबर ऑफ फूड प्रोसेसिंग इंडस्ट्री एसोसिएशन द्वारा, भारत सरकार के एमएसएमई मंत्रालय के सहयोग से आयोजित फूड एक्सपो एंड कॉन्क्लेव 2025 का उद्घाटन होटल जेपी पैलेस में हुआ। उद्घाटन के बाद केंद्रीय राज्य मंत्री प्रो. एसपी सिंह बघेल ने कहा कि जब विचारों का मंथन होता है, तब अमृत निकलता है। यह मंच उद्योग से जुड़ी सूझ-बूझ, परंपरा और नवाचार का संगम है।

कॉन्क्लेव के उद्घाटन के अवसर पर उप्र लघु उद्योग निगम के अध्यक्ष राकेश गर्ग, फुटवियर एवं लेदर उद्योग विकास परिषद के अध्यक्ष पूरन डावर, जिलाधिकारी अरविंद मलप्पा बंगारी, संयुक निदेशक एमएसएमई डॉ आरके भारती, लघु उद्योग भारती के जिलाध्यक्ष विजय गुप्ता, उमेश गर्ग, संरक्षक अजय अग्रवाल बीएन, दिनेश राठौर, विष्णु कुमार गोयल, अध्यक्ष राजकुमार भगत, मुख्य सलाहकार मनीष अग्रवाल रावी, नितिन गोयल, विकास चतुर्वेदी, सीएस अनुज अशोक, सीए आरके जैन, आशीष गर्ग उपस्थित रहे।

आगरा का नवाचार देखकर हैरान हूं- प्रो. एसपी सिंह बघेल

उद्घाटन सत्र में एक्सपो में लगी प्रदर्शनी का अवलोकन करने के बाद केंद्रीय राज्य मंत्री प्रो. बघेल ने कहा कि आगरा में ऐसे नवाचार आधारित खाद्य उत्पाद तैयार हो रहे हैं, जिनकी गुणवत्ता और विविधता देखकर स्वयं मैं हैरान हूं। मुझे गर्व है कि यह पहला अवसर है जब आगरा के रसोईघर में हो रहे श्रेष्ठ उत्पादन की इतनी विराट झलक देखने को मिली।

उन्होंने एफएसएसएआई की भूमिका को रेखांकित करते हुए कहा कि हमारे उत्पाद इतने गुणवत्तापूर्ण होने चाहिए कि वे स्वयं गुणवत्ता की पहचान बनें। एफएसएसएआई जैसी संस्थाएं इन्हें मानक मानें।

आगरा के लघु उद्योगों को प्रोत्साहन देने के लिए उन्होंने ज़िला प्रशासन से विशेष सहयोग का अनुरोध किया। इस पर जिलाधिकारी अरविंद मलप्पा बंगारी ने भूमि आवंटन प्रकिया के सरलीकरण के बारे में जानकारी दी।

यूपी में इंडस्ट्री फैसिलेशन काउंसिल जल्द-राकेश गर्ग

द्वितीय सत्र को संबोधित करते हुए उत्तर प्रदेश लघु उद्योग निगम के अध्यक्ष राकेश गर्ग ने कहा कि खाद्य प्रसंस्करण उद्योग में अपार संभावनाएं हैं। भारतीय काली मिर्च से लेकर सभी अन्य मसाले एवं उत्पादन की विदेशों में अत्यधिक मांग है। उन्होंने घोषणा की कि बहुत जल्द प्रदेश में इंडस्ट्री फैसिलिटेशन काउंसिल की स्थापना की जाएगी, जिसके कार्यालय प्रदेश के सभी जिलों में होंगे।

भारतीय मसालों की राजधानी बन रहा आगरा- पूरन डावर

पूरन डावर ने कहा कि भारत आर्थिक स्वतंत्रता की ओर बढ़ रहा है। विश्व में भारत फुटवियर में तो द्वितीय स्थान रखता ही है साथ ही कृषि में भी दूसरे स्थान पर भारत है। कृषि प्रधान हमारे देश में तभी विकास संभव है जब खाद्य प्रसंस्करण उद्योग भी बढ़े। भारतीय मसालों की बात करें तो इस क्षेत्र में जैसे आगरा राजधानी बनता जा रहा है। खाद्य प्रसंस्करण उद्योग में आगरा को उच्च मुकाम मसाले के उद्योग ने दिया है।

संयुक निदेशक एमएसएमई डॉ आरके भारती ने विभागीय योजना की जानकारी दी। कहा कि आगरा में सीएफसी सेंटर लगाने का प्रयास किया जा रहा है।

स्वच्छता और सुरक्षा के लिए प्रदेश में होंगी कार्यशालाएं– रेखा एस.चौहान

फूड एक्सपो एंड कॉन्क्लेव 2025 में तृतीय सत्र केंद्र एवं राज्य एफएसएसएआई विभाग के सहयोग से खाद्य सुरक्षा पर हुआ। सत्र की मुख्य अतिथि अपर आयुक्त, खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन तथा विशेष सचिव रेखा एस. चौहान थीं। उन्होंने कहा कि खाद्य सुरक्षा विभाग कमोडिटी-वाइज़ निरीक्षण और प्रशिक्षण की योजना बना रहा है, जिसमें स्ट्रीट फूड से लेकर बड़े ब्रांड तक की श्रेणियां तय की जाएंगी। हम दो माह के भीतर एक व्यावहारिक ट्रेनिंग माड्यूल लेकर आएंगे, ताकि सभी ज़िलों में खाद्य व्यवसायियों को प्रशिक्षित किया जा सके।

उन्होंने बताया कि जुलाई में लखनऊ में पहली ट्रेनिंग आयोजित की जा रही है, जो पूरे प्रदेश के लिए मॉडल बनेगी। उन्होंने जिला ऑफिसर से कहा कि खाद्य यूनिटों के निरीक्षण लगातार करें और गड़बड़ी मिलने पर सुधार नोटिस जारी करें। खाद्य प्रसंस्करण इकाइयों के लिए कहा कि मैन्युफैक्चरिंग यूनिट में स्वच्छता और गुणवत्ता के हर पहलू पर विशेष ध्यान देना होगा। क्योंकि स्वच्छता और गुणवत्ता ही खाद्य उद्योग का भविष्य है। ब्रांड वही टिकेगा, जो उपभोक्ता की सेहत को प्राथमिकता देगा।

संयुक्त निदेशक एफएसएसएआई अंकलेश्वर ने कहा कि उपभोक्ता को स्वस्थ उत्पाद दें। नियम के साथ यदि उद्योग करेंगे तो कोई भी विभाग उद्यमियों को परेशान नहीं करेगा।

फूड कलरह और सेल्फ लाइफ पर चर्चा

इसी सत्र में फूड कलर और फूड सेल्फ लाइफ पर भी चर्चा हुई। जिसमें राजकोट से आए दीप एन शाह ने बताया कि किसी भी भोजन की गुणवत्ता उसका स्वाद उसकी सेल्फ लाइफ पर निर्भर करता है। सभी प्रिजर्वेटिव माना कि अच्छे नहीं होते लेकिन मानक के अनुसार प्रयोग किए गए प्रिजर्वेटिव भोजन की गुणवत्ता को बनाए रखते हैं। फूड सेल्फ लाइफ पर ही हमारे प्रोडक्ट की बिक्री भी निर्भर करती है और उसका ब्रांड भी।

उत्पाद में प्राकृतिक रंग को तवज्जो दें

फूड कलर के बारे में फोस्टेस्क ट्रेनिंग कार्यशाला के अंतर्गत पंकज ने बताया कि प्राकृतिक फूड कलर हानिकारक नहीं होते लेकिन यह विडंबना है कि लोग कुछ पैसे और मेहनत बचाने की वजह से हानिकारक रंगों का प्रयोग करते हैं। इतना ही नहीं जरा सी लापरवाही एक मेहनत से खड़े किए गए ब्रांड को कुछ ही दिनों में धराशायी कर सकती है। उन्होंने खाद्य प्रसंस्करण उद्यमियों से कहा कि अपने उत्पाद में प्राकृतिक रंगों के प्रयोग को तवज्जो दें और फिल्टर पानी का ही प्रयोग करें। यदि चूना खाद्य पदार्थ में प्रयोग कर रहे हैं तो उसकी मात्रा सिर्फ एक प्रतिशत ही होनी चाहिए और वह चूना उसके 100 गुना पानी में घुला होना चाहिए। यदि एफएसएसएआई के सभी मानकों का भारतीय खाद्य प्रसंस्करण उद्यमी पालन करें तो उनका उद्योग, उनका उत्पाद वैश्विक मंच पर प्रसिद्धि पाने से कोई नहीं रोक सकता। उन्होंने कहा कि छोटी-छोटी बचत की अपेक्षा बड़े मुनाफे के लिए अच्छे उत्पादों का प्रयोग ही अपने उत्पादन में करें।

इन्होंने बयां की अपनी सफलता की कहानी

आयोजन के पहले दिन अपने लघु उद्योग को वैश्विक मंच प्रदान करने वाले उद्यमियों ने अपनी सफलता की कहानी साझा की। आगरा की कल्पना अग्रवाल, श्रुति बंसल और स्पर्श बंसल सहित प्रतापगढ़ से आए राघव खंडेलवाल ने अपने सफल उद्यम के सफर को साझा किया।

100 से अधिक स्टॉल्स पर उमड़ी देर शाम तक भीड़

फूड एक्सपो और कांक्लेव में 100 से अधिक स्टॉल्स लगी है जिसमें खाद्य प्रशासन उद्योग से जुड़ी हर छोटी बड़ी इकाइयों ने अपने उत्पादन की प्रदर्शनी लगाई है। हींग से लेकर आचार तक बड़े-बड़े माइक्रोवेव ओवन से लेकर आइसक्रीम तक स्टॉल पर शामिल हैं। जिसमें प्रमुख रूप से सलोनी, बी एन ग्रुप, भगत हलवाई, मुंशी पन्ना मसाला उद्योग, चौबे जी मसाले, धौलपुर फ्रेश, अजंता डेयरी, श्री दाऊजी मिष्ठान भंडार, वीजी क्राफ्ट, गुरुजी मसाले, डबल त्रिशूल, रसोई स्वाद आदि की स्टॉल्स पर देर शाम तक भीड़ उमड़ती रही। पहले दिन ही 3000 से अधिक व्यापारी और उद्यमी पहुंचे।

इन संस्थाओं का सहयोग

इस आयोजन को सफल बनाने में लघु उद्योग भारती, आगरा कोल्ड स्टोरेज ओनर्स एसोसिएशन, स्वीट मैन्युफैक्चरर एसोसिएशन, होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन, ब्रज डेवलपमेंट फाउंडेशन, वेडिंग इंडस्ट्री एसोसिएशन, नेशनल चैंबर ऑफ इंडस्ट्री एंड कॉमर्स जैसी संस्थाओं का विशेष योगदान है।

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