स्टूडेंट स्किलिंग प्रोग्राम भी होगा लागू
भारत के प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) और वाराणसी जिला प्रशासन ने एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए हैं। इस साझेदारी का उद्देश्य एमएसएमई सेक्टर में वित्तीय जागरूकता बढ़ाना और उन्हें एनएसई एसएमई प्लेटफॉर्म- एनएसई इमर्ज का उपयोग करके आईपीओ के माध्यम से फंड जुटाने में मदद करना है। साथ ही, इस साझेदारी के तहत स्टूडेंट स्किलिंग प्रोग्राम भी लागू किया जाएगा।
यह एमओयू एनएसई के मुख्य नियामक अधिकारी श्री अंकित शर्मा और वाराणसी जिला प्रशासन के मुख्य विकास अधिकारी श्री हिमांशु नागपाल के बीच हुआ। इस मौके पर उत्तर प्रदेश की माननीय राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल; उत्तर प्रदेश के विधान सभा सदस्य डॉ. नीलकंठ तिवारी; वाराणसी जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती पूनम मौर्य; वाराणसी कैंट, यूपी के विधान सभा सदस्य श्री सौरभ श्रीवास्तव; यूपी के विधान परिषद सदस्य श्री धर्मेंद्र सिंह; यूपी के विधान परिषद सदस्य श्री हंसराज विश्वकर्मा; और वाराणसी में वाराणसी जिला प्रशासन के जिला मजिस्ट्रेट श्री एस राजलिंगम भी मौजूद रहे।
इस साझेदारी के तहत, वाराणसी जिला प्रशासन के सहयोग से वित्तीय साक्षरता और निवेशक जागरूकता बढ़ाने के लिए एनएसई, सेमिनार, कैंप, नॉलेज सेशंस, रोड शो और वर्कशॉप जैसे कार्यक्रम आयोजित करेगा। इसके अलावा, यह साझेदारी एमएसएमई को एनएसई इमर्ज प्लेटफॉर्म पर लिस्टिंग के लिए मार्गदर्शन और फंड जुटाने की प्रक्रिया में सहायता भी प्रदान करेगी। यह साझेदारी छात्रों को उद्योग से संबंधित कौशल सिखाने और बीएफएसआई (बैंकिंग, वित्तीय सेवा और बीमा) सेक्टर में रोजगार के अवसर बढ़ाने पर भी केंद्रित है। यह पहल केंद्र सरकार की मानव संसाधन को मजबूत करने और युवाओं को रोजगार या स्वरोजगार के लिए सक्षम बनाने की दृष्टि से मेल खाती है। वाराणसी का फाइनेंशियल इकोसिस्टम लगातार बढ़ रहा है, ऐसे में छात्रों, निवेशकों और कॉर्पोरेट सेक्टर को सशक्त बनाना जरूरी है। यह साझेदारी वित्तीय जगत के विभिन्न पहलुओं को जोड़ती है और निवेशकों को जागरूक और सशक्त बनाने के लिए एक मजबूत कदम है।
उत्तर प्रदेश की माननीय राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने कहा, “आर्थिक सशक्तिकरण के लिए वित्तीय साक्षरता और निवेशक जागरूकता का होना बहुत जरुरी है। नेशनल स्टॉक एक्सचेंज और वाराणसी जिला प्रशासन के बीच हुई यह साझेदारी एमएसएमई के लिए पूँजी बाजार के माध्यम से नए अवसर उत्पन्न करने और हमारे युवाओं को उद्योग से संबंधित कौशल सिखाने में मदद करेगी। यह पहल निवेशकों को जागरूक करेगी और वित्तीय समावेशन को बढ़ाएगी, जिससे उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी। और साथ ही इसे उद्यमिता और विकास के केंद्र के रूप में स्थापित किया जा सकेगा। मैं इस पहल के लिए एनएसई और जिला प्रशासन के प्रयासों की सराहना करती हूँ।”
वाराणसी के जिलाधिकारी श्री एस. राजालिंगम ने कहा, “यह साझेदारी सिर्फ वित्तीय जानकारी बढ़ाने के लिए नहीं, बल्कि नागरिकों, छात्रों, एमएसएमई और कॉर्पोरेट सेक्टर को जरूरी जानकारी और कौशल प्रदान के लिए भी है, ताकि वे आगे बढ़ सकें। साथ मिलकर, हम एक ऐसा मजबूत फाइनेंशियल इकोसिस्टम तैयार कर रहे हैं, जो वाराणसी में विकास और नए विचारों को बढ़ावा देगा।”
वाराणसी जिला प्रशासन के मुख्य विकास अधिकारी श्री हिमांशु नागपाल ने कहा, “एनएसई की विशेषज्ञता और हमारी स्थानीय विकास पहलों के संयोजन से हम इन कार्यक्रमों को बेहतर तरीके से लागू कर सकेंगे और वाराणसी के विकास में इसके सकारात्मक प्रभाव को देख पाएँगे।”
एनएसई के एमडी और सीईओ श्री आशीषकुमार चौहान ने कहा, “हमारा लक्ष्य निवेशक जागरूकता अभियानों, एनएसई इमर्ज प्लेटफॉर्म के जरिए फंड जुटाने के मार्गदर्शन और स्टूडेंट स्किलिंग प्रोग्राम जैसी पहलों के माध्यम से एक जानकार और सशक्त वित्तीय माहौल तैयार करना है। इसके साथ ही, हम युवाओं को वित्तीय क्षेत्र की जरूरतों के अनुसार जरूरी कौशल से लैस करना चाहते हैं।”
अप्रैल 2024 से फरवरी 2025 के बीच, एनएसई ने 35 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 14 भाषाओं में 13,203 निवेशक जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए, जिनसे 7.24 लाख से अधिक लोग जुड़े। स्टूडेंट स्किलिंग प्रोग्राम के तहत 4,500 से अधिक छात्रों को प्रशिक्षित किया गया। वहीं, एनएसई इमर्ज प्लेटफॉर्म पर अब तक 605 कंपनियाँ सूचीबद्ध हो चुकी हैं, जिन्होंने 16,587 करोड़ रुपए से अधिक की राशि जुटाई है। इन कंपनियों का कुल बाजार पूँजीकरण लगभग 1,85,000 करोड़ रुपए है।
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