—नगर निगम स्थित स्मार्ट सिटी के इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर के कैमरे दे रहे महत्वपूर्ण सुराग
— निर्धारित राशि जमाकर कोई भी नागरिक देख सकता है अपने साथ हुई वारदत की फुटेज
आगरा। अरे भाई क्यों परेशान सा घूम रहा है। क्या हुआ। क्या बताउं मनोज भाई संजय पैलेस सामान लेने गया था कोई बाइक उठा ले गया। तमाम जगह हाथपैर मार लिये कुछ पता नहीं चल पा रहा है। नगर निगम के स्मार्ट सिटी गया कि नहीं। वहां क्या है। अरे वहां से तो सब कुछ पता चल जाएगा। कुछ पैसे जमा कर स्मार्ट सिटी द्वारा लगाये गये कैमरों की फुटेज देख ले। सब कुछ पता चल जाएगा। ये तूने ठीक सलाह दी। फुटेज में तो सब कुछ साफ-साफ दिख जाएगा कि बाइक कब और कौन ले गया है। जी हां नगर में होने वाली तमाम छोटी बड़ी
घटनाओं को कैद करने के लिए शहर के विभिन्न स्थानों पर लगाये गये कैमरे आम लोगों के साथ होने वाली वारदातों का पता लगाने में पुलिस के साथ ही आम लोगों के भी मददगार साबित हो रहे हैं।
नगर आयुक्त अंकित खंडेलवाल के अनुसार फरवरी से 28 अप्रैल तक के आंकड़ों पर नजर दौड़ाई जाए तो पता चलता है कि 131 लोग स्मार्ट सिटी के आई ट्रिपिल सी में सी0सी0टी0वी0 फुटेज को देखने पहुंचे। इनमें से 109 लोगों को अपने साथ घटित हुई घटनाओं की सी0सी0टी0वी0 फुटेज देखने को मिल गयी जबकि 21 लोगों को फुटेज नहीं उपलब्ध हो पाई। इस दौरान एक्सीडेंट के मामलों में 13,चोरी के 32,बैग मिसिंग के केस में 21, लूट संबंधी वारदातों को लेकर आधा दर्जन,हिट एंड रन मामले में दो,आपसी झगड़े में चार,वाहन चोरी के मामले में 22, मोबाइल खोने पर सात, चेन स्नेचिंग से संबंधित वारदात की की फुटेज देखने के लिए पांच और मर्डर से संबंधित वारदात की फुटेज देखने के लिए एक व्यक्ति स्मार्ट सिटी के इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर पहुंचा। फुटेज देखने के बाद कई लोगों को वारदातों से संबंधित महत्वपूर्ण सुराग हाथ लगे जिन्हें पुलिस से शेयर कर वे अपराधी को पकड़वाने में मददगार बने।
स्मार्ट सिटी के माध्यम से नगरीय सीमा पन्द्रह सौ तीस सी0सी0टी0वी कैमरे हर तिराहे व चौराहों पर लगाये गये हैं। ये कैमरे चौबीस घंटे शहर में घटने वाली हर छोटी बड़ी घटना पर बारिकी से नजर रखते हैं। पुलिस के अलावा आम नागरिक भी उनके साथ होने वाली तमाम वारदातों और दुर्घटनाओं में शामिल लोगों का पता लगाने के लिए स्मार्ट सिटी द्वारा संचालित सी0सी0टी0वी0 कैमरों की फुटेज का इस्तेमाल करते हैं।
—-तीस मिनट फुटेज देखने को देना होता है सौ रुपये चार्ज—-
मुख्य डाटा अधिकारी सौरभ अग्रवाल के अनुसार यदि कोई व्यक्ति स्मार्ट सिटी आकर सी0सी0टी0वी0 कैमरों को फुटेज को देखना चाहता है तो उसे पहले तीस मिनट के लिए सौ रुपये का चार्ज देना होता है। इसके बाद हर तीस मिनट के बाद ये शुल्क 150 प्रति तीस मिनट के हिसाब से बढ़ता जाता। अवकाश दिवस षनिवार व रविवार को पहले तीस मिनट के लिए ये चार्ज 250 रुपये रखा गया। इसके बाद हर तीस मिनट के बाद ये चार्ज पांच सौ रुपये के हिसाब से शुल्क लिया जाता है।
— पुलिस के लिए निशुल्क व्यवस्था —
चीफ डाटा ऑफीसर के अनुसार सी0सी0टी0वी0 फुटेज देखने के लिए पुलिस से किसी प्रकार का चार्ज नहीं लिया जाता है। एक बार केवल एक व्यक्ति को ही फुटेज देखने की अनुमति दी जाती है। व्यक्ति को आधार कार्ड के साथ एक फार्म भी भरकर देना होता है जिसमें घटना की विस्तृत जानकारी भरनी होती है।