जिम्मेदारों की मौजूदगी में NGT के नियमों की उड़ाई जा रही धज्जियाँ
आगरा:- राष्ट्रीय हरित अधिकरण (NGT) के स्पष्ट दिशा-निर्देशों के बावजूद आगरा में पर्यावरणीय नियमों का खुलेआम उल्लंघन किया जा रहा है। चौंकाने वाली बात यह है कि यह सब कुछ स्थानीय पुलिस की मौजूदगी में हो रहा है, लेकिन फिर भी कोई सख्त कार्रवाई नहीं की जा रही।
प्राप्त जानकारी के अनुसार शहर के हाथी घाट पर गणेश विसर्जन को आने वाले कुछ लोग सीधे युमना नदी में विसर्जन कर रहे है जबकि नगर निगम ने मोबाइल कुंड के साथ-साथ गणेश विसर्जन के लिए कुंड बनाया है। फिर भी मनमर्जी करने वाले जान हथेली पर रख उफनती यमुना में ही उतर कर विसर्जन कर रहे है ।
ऐसा नही है कि इनको पुलिस रोक नही रही या नगर निगम की टीम इनको कुंड में विसर्जन करने के लिए प्रेरित नही कर रही कुछ बात मान कर कुंड में ही विसर्जन कर रहे है मगर कुछ लोग सीधे यमुना में ही उतर जा रहे है ।
जबकि यमुना नदी का जलस्तर लगातार बढ़ता जा रहा है। खतरे के निशान पर इस समय यमुना का जलस्तर बना हुआ है। हथनी कुंड और गोकुल बैराज से लगातार पानी छोड़ा जा रहा है।
जिलाधिकारी अरविंद मलप्पा बंगारी द्वारा निकटवर्ती इलाको में लगातार मुनादी कराई जा रही है। निचले स्तर पर रहने वाले लोगो को ऊँचे स्थान पर भेजा जा रहा है। 15 बाढ़ चौकियां बनाई गईं हैं। प्रशासनिक अधिकारियों के आदेशों को अनदेखा कर ऐसे खतरे के समय पर नदी में उतरकर गणेश मूर्तियों का विसर्जन कर रहे है।
ऐसे में बड़ा सवाल यह उठता है कि इस लापरवाही के चलते यदि कोई गंभीर हादसा होता है तो उसका जिम्मेदार कौन होगा।