आगरा: मोहब्बत की निशानी ताजमहल एक बार फिर सुर्खियों में है… लेकिन इस बार वजह हैरान करने वाली है। आगरा में ताजमहल के बाहर फर्जी गाइडों और लपकों का एक संगठित सिंडिकेट सक्रिय है, जो न केवल पर्यटकों से ठगी कर रहा है, बल्कि भारत की पर्यटन छवि पर भी सवाल खड़े कर रहा है।
ताज़ महल के बाहर सुबह 5 बजे से ही RK स्टूडियो के पास, पश्चिमी गेट और नीम तिराहा जैसे स्थानों पर ये लपके पर्यटकों को निशाना बनाना शुरू कर देते हैं। पश्चिमी पार्किंग से साउथ गेट तक, दर्जनों फर्जी गाइड न केवल भ्रम फैलाते हैं, बल्कि पर्यटकों को पास की दुकानों में ले जाकर ठगते हैं।
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि पूरे इलाके में दर्जनों CCTV कैमरे लगे हैं… ताज सुरक्षा बल और पर्यटन पुलिस भी तैनात है… फिर भी ये गतिविधियाँ खुलेआम चल रही हैं। सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो में तो फर्जी गाइडो लोकल गाइडो को ताजमहल के अंदर तक विदेशी पर्यटक को घुमाते हुए देखा गया है। जबकि नियम यह है को लोकल लेवल गाइड विदेशी पर्यटक को नहीं घुमा सकता ओर कोई भी गाइड किसी भी पर्यटक को खरीद दारी नहीं करा सकता लेकिन यहाँ ऐसा नहीं है।
कई विदेशी पर्यटक पहले भी अपने साथ हुई ठगी की शिकायतें दर्ज करा चुके हैं, लेकिन कार्रवाई सिर्फ कागज़ों तक सीमित है। लोग सवाल कर रहे हैं – क्या ताजमहल अब ठगों का अड्डा बन गया है?
प्रशासन की सुस्ती और सुरक्षा एजेंसियों की अनदेखी का खामियाज़ा सीधे-सीधे भारत के पर्यटन उद्योग को भुगतना पड़ रहा है। ताजमहल जैसी ऐतिहासिक और विश्वप्रसिद्ध धरोहर के आसपास इस तरह की घटनाएं न केवल पर्यटकों का भरोसा तोड़ रही हैं, बल्कि भारत की वैश्विक छवि को भी नुकसान पहुँचा रही हैं। अब सबसे बड़ा सवाल यही है –
क्या ताजमहल की गरिमा और प्रतिष्ठा को प्रशासन बचा पाएगा? या फिर ये सिलसिला यूँ ही जारी रहेगा?
-ब्यूरो रिपोर्ट