बडे़ बकायेदारों की कुर्की कराएगा नगर निगम

Press Release उत्तर प्रदेश

आगरा, 27 नवंबर। नगर निगम बड़े बकायेदारों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई करने जा रहा है। नगर आयुक्त अंकित खंडेलवाल ने पचास हजार से अधिक के बकायेदारों की सूची तैयार करने के निर्देश देते हुए उनके बैंक खातों को सीज कर कुर्की की कार्रवाई करने के आदेश दिये हैं। नगर आयुक्त ने कर वसूली संबंधी समीक्षा बैठक के दौरान अधिकारियों को इस आशय के निर्देश दिये।
स्मार्ट सिटी कार्यालय में आयोजित बैठक के दौरान उन्होंने कहा कि संबंधित अधिकारी कर वसूली में तेजी लाने के लिए हर संभव उपाय करें। सभी जोनल अधिकारियों को निर्देशित करते हुए उन्होंने कहा कि पचास हजार और एक लाख से अधिक के बकायेदारों की अलग अलग सूची तैयार कर उनसे वसूली में तेजी लाई जाए। ऐसे बकायेदार जिन्हांेने पिछले साल या पहले टैक्स जमा नहीं कराया है उनके खिलाफ खाता सीज और कुर्की की कार्रवाई अमल में लाई जाए। जिन होटल, मैरिजहोम, हॉस्पीटल संचालकों ने टैक्स जमा नहीं कराया है उनकी सूची बनाकर उनपर कुर्की की कार्रवाई की जाए। नगरायुक्त ने केंद्र व राज्य सरकार के ऐसे कार्यालयों की सूची भी तैयार करने के निर्देश दिये हैं जिन्होंने नगर निगम को संपत्ति कर जमा नहीं कराया है।

—गैर आवासीय संपत्तियों से मिलेगा 33.02 करोड़ का टैक्स—

नगर आयुक्त के अनुसार नगर निगम ने गैर आवासीय संपत्तियों को लेकर जीआईएस सर्वे कराया था। सर्वे के दौरान 79239 संपत्तियों को चिंहित किया गया था जिसमें से 62454 पर करारोपण करने की कार्रवाई की जा रही है। इससे निगम को 33.02 करोड़ रुपये का अतिरिक्त राजस्व प्राप्त होगा। चिंहित की गई इन संपत्तियों में से 19878 पर करारोपण कर 16.59 करोड़ का टैक्स वसूला जा चुका है। बकाया संपत्तियों से कर वसूली की कार्रवाई की जा रही है।

—तीस प्रतिशत बढाकर करनी है वसूली—

अपर नगर आयुक्त सत्येंद्र कुमार तिवारी ने बताया कि प्रत्येक राजस्व निरीक्षक को पूर्व में वसूले गये राजस्व से तीस प्रतिशत अधिक कर वसूली का लक्ष्य दिया गया है। लक्ष्य के अनुरुप जो भी राजस्व निरीक्षक कर की वसूली नहीं कर पायेगा उस पर कार्यवाही तय है।

—बीते साल एक लाख ने ही कराया था हाउस टैक्स जमा—
पिछले साल नगर निगम द्वारा कराये गये सर्वे में नगर निगम सीमा में सवा तीन लाख घर और सम्पत्तियों की पहचान की गयी थी। इनमें से साल 2023-24 के दौरान सिर्फ एक लाख लोगों के द्वारा ही कर जमा कराया गया था। सवा लाख के करीब सम्पत्तियां ऐसी थीं जिन्होंने कर जमा ही नहीं कराया था। इसी प्रकार साल 2022-23 में नगर निगम को 86 हजार कर दाताओं ने ही टैक्स अदा किया। वर्तमान वित्तीय वर्ष में करदाताओं की संख्या बढ़कर एक लाख से अधिक हो गयी है।

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