आगरा, 22 फरवरी। जिला प्रशासन की टीम ने इनर रिंग रोड लैंड पार्सल तृतीय फैस जमीन की वापसी के लिए सकारात्मक रुख अपनाया है। समिति ने किसानों को आश्वासन दिया है कि तृतीय फेस की 42 हेक्टेयर जमीन की वापसी पर फैसला शासन की अनुमति लेने के बाद किया जाएगा। फिलहाल गुरुवार को प्रशासन की टीम के कप्तान एडीएम वित्त यशवर्धन श्रीवास्तव फिर से बैठक करेंगे।
किसान नेता श्याम सिंह चाहर द्वारा इस मामले को लेकर कुछ दिन पहले ही 15 दिन तक भूख हड़ताल की थी।जिसके बाद जिला प्रशासन ने ग्यारह सदस्यीय टीम का गठन किया। जिसके अध्यक्ष एडीएम वित्त यशवर्धन श्रीवास्तव बनाये गये। टीम के सदस्यों में गरिमा सिंह सचिव आगरा विकास प्राधिकरण, आनंद कुमार सिंह विशेष भूमि अध्याप्ति अधिकारी, उपजिलाधिकारी सदर परीक्षित खटाना, एसडीएम एत्मादपुर अभय सिंह, सेवानिवृत्त जज शैलेंद्र दत्त पालीवाल, एडीए के मुख्य अभियंता चक्रेश जैन, एडीए के अधिशासी अभियंता डीएस भदौरिया, नगर नियोजक प्रभात कुमार, जिला शासकीय अधिवक्ता सिविल धर्मेंद्र वर्मा, जिला शासकीय अधिवक्ता राजस्व अशोक चौबे हैं। टीम के सदस्यों ने बुधवार को जमीन का भौतिक सत्यापन किया। किसान नेता श्याम सिंह चाहर ने आरोप लगाया कि उस समय एडीए ने किसानों की जमीन को ही लिया। पूंजीपतियों की जमीन छोड़ दी गयी। यह जमीन ग्वालियर रोड के पास थी लेकिन ग्वालियर रोड को छुआ नहीं। उनका आरोप है कि रोड के किनारे पूंजीपतियों की जमीन थी, इसलिए उसे छोड़ दिया गया था।
किसानों ने कहा कि इनर रिंग रोड लैंड पार्सल तृतीय फेस की जमीन वापस की जाए। इसमें पांच गांव रोहता, इटौरा, जखौदा, पचगाई, देवरी के किसानों की जमीन तेरह साल पहले सड़क बनाने के लिए ली थी। जिसका मुआवजा भी उन्हें नहीं दिया गया। किसान नेता श्याम सिंह चाहर ने कहा कि अब यह रोड बनाना निरस्त हो गया है। तो फिर किसानों को उनकी जमीन वापस दिलायी जाए। उनके साथ सैकड़ों किसान थे। वे जमीन वापसी के लिए नारे लगा रहे थे। किसान नेता ने कहा कि 2005 से लेकर 2009 तक दर्जनों कालोनी बसायी गयीं। जिन कालोनियों में हजारों लोग निवास करते हैं। जिनमें तमाम ऐसे हैं, जो कि सेना से या तो सेवानिवृत्त हो गये हैं अथवा अभी सेना में रहकर देश की सेवा कर रहे हैं। किसान नेता रवींद्र सिंह ने कहा कि अगर हमारी जमीन वापस नहीं की तो वे एडीए के खिलाफ आंदोलन करेंगे। किसानों ने जमीन के दो नक्शे अधिकारियों के समक्ष रखे। पूछा कि इनमें कौन सा सही है और कौन सा सही नहीं है। इस पर एडीए के अधिकारी कोई जवाब नहीं दे पाए। आलू उत्पादन समिति के जिलाध्यक्ष लक्ष्मीनारायण बघेल ने कहा कि किसानों की मांग नहीं मानी गयी तो किसान आंदोलन तेज करने को बाध्य होंगे। इस अवसर पर किसान नेता गोविंद शर्मा, राजू जाट, नागेंद्र फौजी, रघुनाथ शर्मा, भगवान सिंह, पप्पू वकील, धर्मपालसिंह, बंटू, सोनू, शशि शेखर, राममोहन, संतोष ,, सत्य प्रकाश, अशोक कुमार, विनोद शुक्ला, धीरज, जयपाल सिंह, हरीसिंह, विजय कुमार, मनोज, लाखन सिंह, पवन, प्रमोद शुक्ला, मनोज शर्मा आदि मौजूद थे।