आगरा, 24 जून। नगर आयुक्त अंकित खंडेलवाल ने कहा है कि बड़े कूड़ा उत्पादकों को अब अपने परिसर में ही यूनिट लगाकर कूड़े का निस्तारण करना होगा। नियमों का उल्लंघन करते हुए पकड़े जाने पर उन्हें जुर्माना भुगतना हेागा।
उन्होंने बताया कि भारत सरकार द्वारा अधिसूचित ठोस अपशिष्ट प्रबंधन नियमावली-2016 के उपनियम 08 के अंतर्गत बल्क वेस्ट जनरेटर्स की श्रेणी में उन सभी सरकारी एवं गैर सरकारी संस्थानों जिनमें आर डब्ल्यू ए, हाईराइज सोसायटी, होटल, स्कूल, कालेज, होस्टल धर्मशाला और रेस्टोरेंट आदि को रखा गया है जिनकी औसत अपशिष्ट उत्पादन दर प्रतिदिन सौ किलोग्राम से अधिक है। सभी अपशिष्ट उत्पादक स्त्रोत पर ही चार श्रेणियों (सूखा, गीला,सेनेटरी और घरेलू खतरनाक अपशिष्ट पदार्थ श्रेणी) में कूड़े को पृथक कर एकत्रित करेंगे। उन्होंने बताया कि ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के उपनियम -04 में कचरा उत्पादक के कर्तव्यों एवं स्वच्छ सर्वेक्षण टूलकिट के अनुसार बल्क वेस्ट जनरेटर बायोडिग्रेडेबल वेस्ट या गीले कचरे को अपने परिसर में ही कम्पोस्टिंग या बायोमिथेनेशन विधि से निस्तारित करेंगे।
सूखे, सेनेटरी और घरेलू खतरनाक अपशिष्ट को आगरा नगर निगम द्वारा निर्धारित अनुबंधित कूड़ा एकत्रित करने वाली एजेंसी को दिया जाएगा। इसको लेकर सभी बल्क वेस्ट जनरेटर्स को नोटिस के माध्यम से अवगत कराया जा चुका है।
इस विषय में और अधिक जानकारी देते हुए अपर नगर आयुक्त सुरेंद्र प्रसाद यादव ने बताया कि नियमों का अनुपालन न करने पर नगर निगम बल्क वेस्ट जनरेटर्स पर भारत सरकार, राज्य सरकार एवं एनजीटी के निर्देशों के अनुरुप कार्यवाही को बाध्य होगा। उन्होंने सभी बल्क अपशिष्ट उत्पादकों से अपील की है कि स्वच्छ भारत मिशन में अपना अमूल्य सहयोग प्रदान कर दण्डात्मक कार्यवाही से बचने के लिए अपने परिसर में ही गीले अपशिष्ट के निपटान की यूनिट स्थापित करना सुनिश्चित कर आगरा नगर निगम को स्वच्छ सर्वेक्षण में उच्चतम स्थान पर लाने में सहयेाग करें।